हर साल 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस मनाया जाता है और इस दिन ब्रिटिश शासन से देश की आजादी का जश्न मनाया जाता है। 26 जनवरी को मनाया जाने वाला गणतंत्र दिवस 1950 में भारतीय संविधान का सम्मान करता है। 26 जनवरी और 15 अगस्त से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारी स्टूडेंट्स को होनी चाहिए, इसलिए इस ब्लाॅग में हम लोकतंत्र और गणतंत्र में अंतर (Difference Between Democracy and Republic in Hindi) जानेंगे।
लोकतंत्र और गणतंत्र में अंतर क्या है?
भारत को एक लोकतांत्रिक गणतांत्रिक देश के रूप में जाना जाता है। किसी भी देश में अगर सत्ता का विस्तार होता है, तो उसकी सीमाएं भी होती हैं और यह लोगों पर निर्भर है कि वे किसे चुनना चाहते हैं इसलिए लोग निर्णय-निर्माता कहे जाते हैं, लेकिन लोग कभी-कभी दो शब्दों यानी लोकतंत्र और गणतंत्र को लेकर भ्रमित हो सकते हैं।
लोकतांत्रिक व्यवस्था में कानून बहुमत द्वारा बनाये जाते हैं। गणतंत्र प्रणाली में कानून जनता के चुने हुए प्रतिनिधियों द्वारा बनाये जाते हैं। लोकतंत्र में बहुमत की इच्छा को मौजूदा अधिकारों पर हावी होने का अधिकार है। गणतंत्र प्रणाली में, बहुमत की इच्छा को ख़त्म नहीं किया जा सकता क्योंकि संविधान उन अधिकारों की रक्षा करेगा। एक देश में एक से अधिक प्रकार के लोकतंत्र हो सकते हैं। लोकतंत्र में सरकार पर कोई रोक-टोक नहीं होती. गणतंत्र में सरकार पर बाध्यताएं होती हैं।
लोकतंत्र क्या है?
लोकतंत्र सरकार की एक प्रणाली है जहां राष्ट्र के सभी योग्य और सक्षम नागरिक प्रतिनिधियों के माध्यम से देश की निर्णय लेने की प्रक्रियाओं में भाग लेते हैं। सरल शब्दों में हम कह सकते हैं कि लोकतंत्र राज्य का एक रूप है जो नागरिकों को अपनी सरकार चुनने की अनुमति देता है, जो बहुमत का शासन स्थापित करता है। लोकतंत्र, देश के योग्य नागरिकों को वोट देने और उनकी समस्याओं और मुद्दों को आगे बढ़ाने वाले प्रतिनिधियों को चुनने की आजादी देता है।
गणतंत्र क्या है?
गणतंत्र में सत्ता व्यक्तिगत नागरिकों के हाथ में होती है। गणतंत्र का अर्थ नागरिकों के अधिकारों से है। गणतंत्र प्रणाली में कानून जनता के चुने हुए प्रतिनिधियों द्वारा बनाये जाते हैं। गणतंत्र में बहुसंख्यक और अल्पसंख्यक निकायों के बीच शक्ति शामिल है। गणतंत्रात्मक सरकार में सत्ता व्यक्तिगत नागरिकों की होती है। एक देश में 1 से अधिक प्रकार के गणतंत्र भी हो सकते हैं।
लोकतंत्र और गणतंत्र में अंतर (Difference Between Democracy and Republic)
दुनिया के कुछ देश लोकतांत्रिक और गणतंत्र दोनों प्रकार की सरकार का पालन करते हैं। इन देशों को लोकतांत्रिक गणराज्य कहा जाता है। यह सरकार की एक मिश्रित प्रणाली वाली सरकार के प्रकार को संदर्भित करता है। लोकतंत्र तीन प्रकार के प्रतिनिधिक लोकतंत्र, प्रत्यक्ष लोकतंत्र, संवैधानिक लोकतंत्र होते हैं और गणतंत्र पांच प्रकार संविधान गणतंत्र, ईश्वरीय गणतंत्र, राष्ट्रपति गणतंत्र, संसदीय गणतंत्र, संघीय गणराज्य होते हैं। लोकतांत्रिक व्यवस्था में जनता को पूर्ण अधिकार प्राप्त है। गणतंत्रीय व्यवस्था में व्यक्तिगत नागरिकों के पास अधिकार होता है।
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