राष्ट्रगान के रचयिता और नोबेल पुरस्कार विजेता रवींद्रनाथ टैगोर का जीवन परिचय: Rabindranath Tagore Ka Jivan Prichay

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Rabindranath Tagore Ka Jivan Prichay

Rabindranath Tagore Ka Jivan Prichay: बिस्वाकाबी रवींद्रनाथ टैगोर को ‘गुरुदेव’‘कबीगुरू’ के नाम से भी जाना जाता हैं। वह एशिया के प्रथम व्यक्ति थे जिन्हें वर्ष 1913 में साहित्य के प्रतिष्ठित ‘नोबेल पुरस्कार’ (Nobel Prize) से सम्मानित किया गया था। माना जाता है कि उन्होंने 2000 से अधिक गीतों की रचना की हैं जिन्हें ‘रबींद्र संगीत’ (Rabindra Sangeet) कहा जाता है। वहीं, उनकी कविता से भारत और बांग्लादेश को राष्ट्रगान मिले है। जहाँ ‘जन गण मन’ भारत का राष्‍ट्रगान बना तो दूसरी ओर बांग्लादेश का राष्‍ट्रगान ‘आमार सोनार बांग्ला’ बना। शायद आप जानते होंगे कि वे महात्मा गांधी के अच्छे मित्र थे और माना जाता है कि उन्होंने ही राष्ट्रपिता ‘महात्मा गांधी’ को ‘महात्मा’ की उपाधि दी थी। 

रवींद्रनाथ टैगोर एक महान लेखक होने के साथ ही नाटककार, संगीतकार, चित्रकार, दार्शनिक और शिक्षाविद भी थे। बता दें कि उनकी रचनाओं को न केवल भारत के स्कूल, कॉलेजों व शैक्षणिक संस्थानों में पढ़ाया जाता है बल्कि उनकी रचनाएं पड़ोसी देश बांग्लादेश के स्कूली पाठ्यक्रम का भी हिस्सा हैं। बताना चाहेंगे इस वर्ष 7 मई, 2025 को रवींद्रनाथ टैगोर जी की 164वीं वर्षगांठ मनाई जाएगी।

आइए अब भारत के प्रथम नोबल पुरस्कार विजेता और विश्वकवि रवींद्रनाथ टैगोर का जीवन परिचय (Rabindranath Tagore Ka Jivan Parichay) और उनकी साहित्यिक उपलब्धियों के बारे में विस्तार से जानते हैं। 

नाम रवींद्रनाथ टैगोर (Rabindranath Tagore) 
जन्म 7 मई 1861
जन्म स्थान कलकत्ता, ब्रिटिश भारत 
पिता का नाम देवेंद्रनाथ टैगोर 
माता का नाम शारदा देवी 
पत्नी का नाम मृणालिनी देवी 
संतान रेणुका टैगोर, शमिन्द्रनाथ टैगोर, मीरा टैगोर, रतिंद्रनाथ टैगोर, मधुरिलता टैगोर 
पेशा साहित्यकार, संगीतकार, नाटककार, शिक्षाविद 
भाषा बांग्ला, इंग्लिश 
साहित्यिक विधाएँ उपन्यास, कहानी, कविता, बाल साहित्य व नाटक
उपन्यास गोरा, चोखेर बाली, योगायोग आदि।  
कहानी अनमोल भेंट, अनाथ, अपरिचिता, काबुलीवाला, खोया हुआ मोती आदि। 
काव्य-संग्रह  गीतांजलि, मानसी, गीतिमाल्य, वलाका, सोनार तरी आदि। 
नाटक डाकघर, राजा 
स्थापना विश्व भारती (शांतिनिकेतन) 
पुरस्कार एवं सम्मान  नोबेल पुरस्कार (1913) 
निधन 7 अगस्त 1941 कलकत्ता, ब्रिटिश भारत 
वर्षगांठ 2025 164वीं

ब्रिटिश भारत में हुआ था जन्म – Rabindranath Tagore Ka Jivan Prichay

‘गुरुदेव’ रवींद्रनाथ टैगोर का जन्म 7 मई, 1861 को पश्चिम बंगाल की राजधानी कलकत्ता (पूर्व ब्रिटिश भारत) में एक संपन्न परिवार में हुआ था। उनके प‍िता का नाम ‘देवेंद्रनाथ टैगोर’ था, जबक‍ि माता ‘शारदा देवी’ थीं। वह अपने माता-पिता की तेरहवीं संतान थे। वहीं उनकी प्रारंभिक शिक्षा कलकत्ता में ही हुई। बता दें कि साहित्य के प्रति उन्हें बचपन से ही बहुत लगाव था उन्होंने मात्र 08 वर्ष की अल्प आयु में पहली कविता लिखी थी। 

बिना डिग्री लिए वापस भारत लौट – Rabindranath Tagore in Hindi

16 वर्ष की आयु में रवींद्रनाथ टैगोर की पहली लघुकथा प्रकाशित हुई थी। इसके बाद वह वकालत की पढ़ाई करने के लिए लंदन भी गए किंतु बिना डिग्री लिए ही वापस भारत लौट आए। फिर उनका संपूर्ण जीवन साहित्य, संगीत व कला के सृजन में बीता। 

‘गीतांजलि’ के लिए मिला नोबेल पुरस्कार 

‘कबीगुरू’ रवींद्रनाथ टैगोर बंगला गद्य व काव्य के आधुनिकीकरण में अपना अग्रणी स्थान रखते हैं। आपको बता दें कि रवींद्रनाथ टैगोर को उनकी काव्यरचना ‘गीतांजलि’ (Gitanjali) के लिए वर्ष 1913 में साहित्य के सर्वोच्च सम्मान ‘नोबेल पुरस्कार’ से सम्मानित किया गया था। वहीं, यह पुरस्कार जीतने वाले वह पहले गैर-यूरोपीय थे। हालांकि, रवींद्रनाथ टैगोर ने स्वयं नोबेल पुरस्कार नहीं लिया था बल्कि उनके स्थान पर तत्कालीन ब्रिटिश राजदूत ने यह पुरस्कार प्राप्त किया था। 

‘नाइटहुड’ की उपाधि लौटा दी 

वर्ष 1915 में तत्कालीन ब्रिटिश हुकूमत के किंग ‘जॉर्ज पंचम’ ने रवींद्रनाथ टैगोर को ‘नाइटहुड’ की उपाधि से नवाजा था। लेकिन वर्ष 1919 में जलियाँवाला बाग हत्याकांड के बाद उन्होंने नाइटहुड की उपाधि वापस लौटा दी थी। 

यह भी पढ़ें – रवींद्रनाथ टैगोर की वो रचनाएं, जो आपको साहित्य के अलौकिक दर्शन करवाएंगी

‘शांति निकेतन’ की रखी नींव 

रवींद्रनाथ टैगोर एक महान रचनाकार होने के साथ ही शिक्षाविद भी थे। उन्होंने वर्ष 1921 में ‘शांति निकेतन’ की स्थापना की थी। जिसे वर्तमान में केंद्रीय विश्वविद्यालय ‘विश्व-भारती’ के नाम से जाना जाता है। 

रविंद्रनाथ टैगोर की प्रमुख रचनाएं

यहाँ विश्व कवि रवींद्रनाथ टैगोर का जीवन परिचय (Rabindranath Tagore Ka Jivan Prichay) के साथ ही उनकी प्रमुख रचनाओं के बारे में भी विस्तार से बताया गया है, जो कि इस प्रकार हैं:-

उपन्यास 

  • गोरा 
  • चोखेरबाली
  • घरे बाइरे 
  • नष्टनीड़
  • योगायोग 

कहानी-संग्रह  

  • गल्पगुच्छ 

कविता

  • गीतांजलि 
  • सोनार तरी 
  • भानुसिंह ठाकुरेर पदावली 
  • गीतिमाल्य 
  • मानसी  
  • वलाका 

नाटक 

  • रक्तकरवी
  • विसर्जन 
  • डाकघर 
  • राजा 
  • वाल्मीकि प्रतिभा 
  • मुक्तधारा
  • अचलायतन 

अन्य   

  • The Religion of Man
  • Nationalism  

7 अगस्‍त 1941 को हुआ था निधन – Rabindranath Tagore in Hindi

रवींद्रनाथ टैगोर का संपूर्ण जीवन साहित्य, संगीत और कला को समर्पित था। वहीं 7 अगस्त, 1941 को 80 वर्ष की आयु में उनका निधन हो गया। किंतु आज भी वह अपने अनुपम साहित्य और संगीत के लिए पूरे विश्व में विख्यात हैं और रहेंगे। 

 यह भी पढ़ें – रवींद्रनाथ टैगोर के जीवन पर निबंध

पढ़िए भारत के महान राजनीतिज्ञ और साहित्यकारों का जीवन परिचय 

यहाँ राष्ट्रगान के रचयिता और नोबल पुरस्कार विजेता रवींद्रनाथ टैगोर का जीवन परिचय (Rabindranath Tagore Ka Jivan Prichay) के साथ ही भारत के महान राजनीतिज्ञ और साहित्यकारों का जीवन परिचय की जानकारी भी दी जा रही हैं। जिसे आप नीचे दी गई टेबल में देख सकते हैं:-

के.आर. नारायणनडॉ. एपीजे अब्दुल कलाममहात्मा गांधी
पंडित जवाहरलाल नेहरूसुभाष चंद्र बोस बिपिन चंद्र पाल
गोपाल कृष्ण गोखलेनामवर सिंह सरदार वल्लभभाई पटेल
चन्द्रधर शर्मा गुलेरी मुंशी प्रेमचंद रामधारी सिंह दिनकर 
सुमित्रानंदन पंतअमरकांत आर.के. नारायण
मृदुला गर्ग अमृता प्रीतम मन्नू भंडारी
मोहन राकेशकृष्ण चंदरउपेन्द्रनाथ अश्क
फणीश्वर नाथ रेणुनिर्मल वर्माउषा प्रियंवदा
हबीब तनवीरमैत्रेयी पुष्पा धर्मवीर भारती
नासिरा शर्माकमलेश्वरशंकर शेष
असग़र वजाहतसर्वेश्वर दयाल सक्सेनाचित्रा मुद्गल
ओमप्रकाश वाल्मीकिश्रीलाल शुक्लरघुवीर सहाय
ज्ञानरंजनगोपालदास नीरजकृष्णा सोबती
रांगेय राघवसच्चिदानंद हीरानंद वात्स्यायन ‘अज्ञेय’माखनलाल चतुर्वेदी 
दुष्यंत कुमारभारतेंदु हरिश्चंद्रसाहिर लुधियानवी
जैनेंद्र कुमारभीष्म साहनीकाशीनाथ सिंह
विष्णु प्रभाकरसआदत हसन मंटोअमृतलाल नागर 
राजिंदर सिंह बेदीहरिशंकर परसाईमुनव्वर राणा

FAQs 

रवींद्रनाथ टैगोर का जन्म कहाँ हुआ था?

रवींद्रनाथ टैगोर का जन्म 7 मई, 1861 को पश्चिम बंगाल की राजधानी कलकत्ता में हुआ था। 

किस काव्य रचना के लिए रवींद्रनाथ टैगोर को ‘नोबेल पुरस्कार’ से नवाजा गया था?

रवींद्रनाथ टैगोर को वर्ष 1913 में उनकी प्रसिद्ध काव्य रचना ‘गीतांजलि’ के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया था। 

रवींद्रनाथ टैगोर को किसने ‘नाइटहुड’ की उपाधि से दी थी?

ब्रिटिश भारत के तत्कालीन किंग जॉर्ज पंचम ने उन्हें ‘नाइटहुड’ की उपाधि से नवाजा था। 

‘गोरा’ उपन्यास किसकी रचना है?

यह रवींद्रनाथ टैगोर की लोकप्रिय उपन्यास है। 

रवींद्रनाथ टैगोर ने ‘विश्व भारती’ की स्थापना कब की थी?

बता दें कि रवींद्रनाथ टैगोर ने विश्व भारती विश्वविद्यालय की स्थापना वर्ष 1921 में की थी।  

रवींद्रनाथ टैगोर का निधन कब हुआ?

रवींद्रनाथ टैगोर का 7 अगस्त, 1941 को निधन हुआ था। 

रवींद्रनाथ टैगोर क्यों प्रसिद्ध है?

रवींद्रनाथ टैगोर को महाकाव्य ‘गीतांजलि’ की रचना के लिए वर्ष 1913 में ‘नोबेल पुरस्कार’ से सम्मानित किया गया था।

रवींद्रनाथ टैगोर ने क्या लिखा है?

रवींद्रनाथ टैगोर ने भारत का राष्ट्रगान ‘जन गण मन’ और बांग्लादेश का राष्ट्रगान ‘आमार सोनार बांग्ला’ लिखा है। इसके अलावा श्रीलंका के राष्ट्रगान का एक हिस्सा उनकी कविता से लिया गया है।  

रवींद्रनाथ टैगोर को अन्य किस नाम से जाना जाता है?

रवींद्रनाथ टैगोर को ‘गुरुदेव’, ‘कोबीगुरु’ और बिस्वकोबी जैसे उपनामों से भी जाना जाता था।

रवींद्रनाथ टैगोर के माता-पिता का नाम क्या था?

उनकी माता का नाम ‘शारदा देवी’ था जबकि पिता का नाम ‘देवेंद्रनाथ टैगोर’ था।

आशा है कि आपको राष्ट्रगान के रचयिता और नोबल पुरस्कार विजेता रवींद्रनाथ टैगोर का जीवन परिचय (Rabindranath Tagore Ka Jivan Parichay) पर हमारा यह ब्लॉग पसंद आया होगा। ऐसे ही अन्य प्रसिद्ध कवियों और महान व्यक्तियों के जीवन परिचय को पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बने रहें।

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