यहाँ हम कक्षा 10 की हिंदी NCERT “संचयन भाग-2” के पाठ-1 “हरिहर काका” की कहानी को संक्षिप्त रूप में जानेंगे। किस प्रकार लोभ के कारण अपने ही परिवार के सदस्य और प्रियजन स्वार्थ के लोभ में किसी अपने को पीड़ा पंहुचा सकते हैं। इसके अलावा पाठ का सार, कठिन शब्दों के अर्थ, NCERT में दिए गए प्रश्न हल करेंगे। आइए Harihar Kaka Class 10 पाठ को और भी विस्तार से जानते हैं।
बोर्ड | CBSE |
टेक्स्ट बुक | NCERT |
कक्षा | Class 10 |
विषय | Hindi Sanchayan |
पाठ संख्या | पाठ 1 |
पाठ का नाम | Harihar Kaka Class 10 |
श्रेणी | NCERT सोल्यूशंस |
This Blog Includes:
यह भी पढ़ें: CBSE Class 10 Hindi Syllabus
हरिहर काका पाठ के लेखक परिचय
लेखक : मिथिलेश्वर
जन्म :31 दिसंबर 1950, भोजपुर
रांची विश्वविद्यालय के अंग्रेजी विभाग और फिर यूजीसी की फैलोशिप पुरस्कार के तहत एचडी जैन कॉलेज, आरा पहुंचे. बाद में, वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय आरा बिहार, मास्टर्स अंग्रेजी विभाग में वरिष्ठ अंतरिक्ष पाठक कर रहे हैं। मुख्यतः कथाकार हैं। कहानी के साथ उपन्यास विधा को भी वह गंभीरता से अपनाया है, और इन दोनों शैलियों में कई काम दिए गए हैं। उनका विषय-क्षेत्र है, मुख्य रूप से ग्रामीण जीवन। प्रेमचंद और रेणु के बाद गांव से जुड़ी कथा-लेखन में उनका का नाम पहली है। वे सादगी के शिल्प में कहानी की साजिश रचने है कि कथाकार हैं। लेखक ने Harihar Kaka Class 10 के साथ-साथ कई और पाठ भी लिखें हैं।
पाठ सारांश
Harihar Kaka Class 10 का पाठ सारांश नीचे दिया गया है-
- लेखक मिथलेश्वर बताते है कि ये कहानी एक ऐसे बुजर्ग आदमी की है जो अपना जीवन गाँव में बड़ी ही सरलता से बिताता है। लेकिन आखरी समय में खुद को बड़ा ही लाचार और बेबस महसूस कर रहा है। परिवारवाले अपने लालच और स्वार्थ में लुप्त है। लेखक कुछ समय पहले ही गाँव लौटा है,वह उनके ख्यालो और व्यवहार का बहुत सम्मान करता है|वह बताता है ही हरिहर काका की ज़िन्दगी से बड़ी ही गहराई से जुड़ा हुआ है। वो उसे बचपन से ही बहुत प्यार करते थे, कंधे के ऊपर बिठाकर घूमाते थे। बड़े होने के साथ अचे दोस्त भी बन गए।
- लेकिन जीवन के आखरी पड़ाव में शांत और गुमसुम से हो गए है। इसके लिए उनकी जीवन के बारे में जानना ज़रूरी है। वह और लेखक एक ही गाँव के है उनको गाँव कस्बाई शहर आरा से चालीस किलोमीटर दूर है। गाँव की कुल जनसंख्या ढाई से तीन हज़ार है गाँव में ठाकुर जी का विशाल और भव्य मंदिर है इसकी स्थापना कब हुई ये किसी को मालूम नहीं है। लेकिन ये गांववालों के लिए बहुत महत्वपूर्ण है, ऐसी मान्यता है कि यहाँ सबकी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। ख़राब होते हुए स्वास्थ के कारण जाना बंद कर दिया।
- हरिहर काका के तीन भाई है सभी शादीशुदा है और बच्चे भी बड़े हैं। हरिहर काका की कोई संतान नहीं है वो अपने भाइयो के साथ ही रहते है हर भाई के हिस्से में 15 बीघा जमीन है। परिवार का गुज़ारा खेतीबाड़ी से ही चलता है। कुछ समय तो भाइयों की पत्नियां अच्छे से देखभाल करती रही लेकिन एक समय ऐसा आया की उन्हें कोई पानी और खाने के लिए भी नहीं पूछता था। उनके सहनशक्ति जवाब देगी और और वो आग बबूला हो गए। हरिहर काका के गुस्से का महंत जी ने लाभ उठाने की सोची और दुनिया दरी की बुराई करने लगे।
- महंत ने समझाया की अपनी सारी जायदाद ठाकुरबारी के नाम कर दे तुम्हे बैकुंठ की प्राप्ति होगी। वो महंत की बाते बड़े ही ध्यान से सुनते मगर कोई परिणाम नहीं निकल पाए। ठाकुरबारी में ही खाने पीने की व्यवस्था कर दी। जैसे ही उनके भाइयों को पता चला वो रोते हुए उनके पास आए और माफ़ी मांगी और उन्हें अपने साथ ले गए। अब उनका ध्यान रखा जाने लगा और एक आवाज़ पर ही सारा सामान हाज़िर होने लगा भाई द्वारा जायदाद अपने नाम लिखने का प्रयत्न कर रहे थे लेकिन हरिहर काका जानते थे की ऐसे कितने लोग है जो जायदाद लिखने के बाद पछता रहे हैं। उधर महंत की बेचैनी बढ़ने लगी महंत ने एक योजना बनाई और काका अपहरण करा लिया। उनके भाइयों को जब खबर लगी तो उन्हें दरवाज़ा खुलवाने का प्रयास किया के वो असफल रहे महंत ने एक कोरे काज पर काका के अंगूठे के निशान ले लिए। पुलिस ने बहुत मुश्किल से दरवाज़ा खुलवाया और उनके मुँह से पटी निकाली और उन्हें छुड़ा के भाई घर ले गए।
- कुछ दिनों तक भाई उनकी देखभाल करते रहे और उनसे ज़मीन अपने नाम करने को कहा भाइयों की सहनशक्ति जवाब दे गयी और उसने विकराल रूप धारण कर लिया उन्होंने काका को धमकाते हुए कहा की चुपचाप ज़मीन हमारे नाम कर दो वरना मरवा देंगे। गाँव में ये बात आग की तरह फेल गई महंत को जैसे ही पता चला वो पुलिस को लेकर आया और उन्हें, बंधन से मुक्त करा दिया काका ने ये बताया कि उनके भाइयों ने जब्रन एक कोरे काज में अंगूठे के निशान ले लिए है। देखने से लग रहा था की उनकी पिटाई भी हुई है। अब अफवाओं का बाजार गर्म है कि काका के गूंगे होने के कारण महंत उनकी ज़मीन हातिया लेंगे।
कठिन-शब्दों के अर्थ
Harihar Kaka Class 10 कठिन-शब्दों के अर्थ नीचे दिए गए हैं-
- सार्थक – उद्देश्य वाला
- आसक्ति -लगाव
- सयाना – समझदार , बुद्धिमान
- सार्थक – उपयोगी, अर्थवाला
- यंत्रणाओं -यातनाओ , कलेश
- मझदार- बीच में
- विलीन – लुप्त , समाप्त
- आकर्थक- बेकार
- विकल्प- दूसरा उपाय
- जाग्रत – सतर्क
- दवनी- धन निकलने की प्रक्रिया
- मशगूल – व्यस्त
- तक्षण – उसी पल
- विमुख- उदासीन ,हताश
- महटिया – टालना
- घनिष्ठ – गहरा
- ठाकुरबारी -देवस्थान
- मनौती – मन्नत
- परंपरा – प्रथा / प्रणाली
- सञ्चालन – नियंत्रण / चलाना
- नियुक्ति – तैनाती / लगाया गया
- आच्छादित – ढका हुआ
- कलेवर – शरीर / देह / ऊपरी ढाँचा
- अधिकांश – ज्यादातर
- समिति – संस्था
Check Out: हिंदी व्याकरण – Leverage Edu के साथ संपूर्ण हिंदी व्याकरण सीखें
पाठ्य पुस्तक के प्रश्न उत्तर
Harihar Kaka Class 10 पाठ्य पुस्तक के प्रश्न उत्तर नीचे दिए गए हैं:
उत्तर-कथावाचक और हरिहर काका के बीच बहुत गहरी दोस्ती है उनका बहुत गहरा जुड़ाव था। वो उन चाँद लोगो में से है जिसका लेखक सामान करता है। इसके दो कारण है :-
हरिहर काका उसके पड़ोस में रहते है।
लेखक की माँ बताती है की वो बचपन से उसे दुलार करते है और अपने बच्चे जितना ही प्यार करते है।
उत्तर-हरिहर काका को महंत और अपने भाई दोनों एक लगाने लगे क्युंकि पहले उनके भाइयो ने उनका खूब सम्मान किया और उन्हें खाने में कोई कमी नहीं राखी परन्तु कुछ समय बाद उन्हें रुखा सूखा खाना देना शुरू कर दिया | बीमार होने पर भी उनकी देखभाल नहीं की उन्होंने अपनी ज़मीन उनके नाम नहीं की तो उन्होंने दुर्व्यहवहार करना सुरु कर दिया , वही महंत को जब इस बात की जानकारी हुई उसने भी उनकी सेवा करनी शरू कर दी और उनके मन करने पर बंधी बना दिया इसकिये उन्हें अपने भाई और महंत एक लगे |
उत्तर- ठाकुरबारी गांव का सबसे प्राचीन मंदिर है यहाँ ऐसी मान्यता है की हर मनोकामना पूर्ण होती है | ठाकुरबारी के प्रति लोगो की श्रद्धा , प्रेम, विस्वास का पता चलता है|
उत्तर-अनपढ़ होते हुए भी हरिहर काका दुनिया की बेहतर समझ रखते हैं। वे जानते हैं कि जब तक उनकी १५ बीघा जमीन उनके पास है सब उनका आदर करते हैं। वह ये समझ गए थे उनके भाई और महंत दोनों उनकी ज़मीन अपने नाम करना चाहते है और अगर वो उनके नाम कर देंगे तो उनका जीवन नर्क बन जायेगा । वे नहीं चाहते थे कि उनके साथ भी ऐसा हो।
उत्तर- महंत उनके चेले हरिहर काका को ज़बरन उठा के ले गए थे। उन्होंने हरिहर काका के घर पर हमला किया और उन्हें ज़बरन ठाकुरबारी में बंद कर दिया और उन पर अंदर हथियारों से हमला किया| ज़बरन इनके अअंगूठे के निशान लिए और और उन्हें एक कमरे में बंद कर दिया
उत्तर- हरिहर काका को लेकर गाँव दो वर्गों में बात गया था एक वर्ग परिवारवालों के साथ जिसका कहना था अपने ज़मीनपरिवार वालो के नाम कर देनी चाहिए | वही दूसरा वर्ग महंत के साथ था उनका कहना था कभी -कभी धर्म कर्म के काम में हाथ बटाना चाहिए और ज़मीन ठकुरवारी के नाम कर देनी चाहिए |
उत्तर- हरिहर काका की ज़मीन हथियाने के लिए महंत ने उनका अपरहण करा दिया , उनके ज़बरन अंगूठे के निशान लेने का प्रयास किया , साथ ही उनके सगे भाइयो ने भी उनके साथ दुर्व्यहवार किया जिससे उनका मन रिश्तो से उठ गया और मृत्यु का डर नहीं रहा |
उत्तर- हम लोग कही न खाई एक दूसरे से जुड़े सालो से हम सब वसुधैव कुटुम्बकम् की विचारधार से जुड़े हुए है | हम सब अपने परिवार में सुरक्षित महसूस करते है आपस में विश्वास बढ़ता है | रिश्ते ही मुसीबत के समय काम आते है |
उत्तर- अगर हमरे सामने ऐसी हालत आते है तो हम कोशिश करेंगे की हम उन्हें ये यकीन दिलाये की हम उनके साथ | उनका दुःख का कारण जानकार उसे सुलझाने की कोशिश करेंगे परिवार को समझाएंगे और न मानाने की हालत में उनका विरोध करेंगे |
उत्तर-अगर मीडिया की पहुंच गाँव तक होती तो तो कोई भी बात छिपी नहीं मीडिया हमें जानकारी प्रदान करता है और हरिहर काका पर अत्याचार करने वाले उनके भाइयो और महंत बहुत पहले ही पुलिस की हिरासत में होते |
उत्तर- इस बार जब लेखक हरिहर काका से मिलने गया और उनकी तबीयत के बारे में पूछा तो उन्होंने सिर उठाकर एक बार लेखक की ओर देखा और सिर झुका लिया। इसके बाद उन्होंने दुबारा सिर नहीं उठाया। उनकी यात्रा और मनोदशा के बारे में आंखों ने बहुत कुछ कह दिया पर काका कुछ बोल न सके। उनकी इस दशा ने लेखक को चिंतित कर दिया।
उत्तर – लेखक को उसकी माँ बताया करती थी कि हरिहर काका बचपन में उसे बहुत प्यार करते थे। वे उसे कंधे पर बैठाकर घुमाया करते थे। एक पिता अपने बेटे को जितना प्यार करता है, हरिहर काका उससे ज्यादा प्यार लेखक को करते थे। वे जितना खुलकर लेखक से बातें करते थे, उतना किसी अन्य से नहीं। हरिहर काका ने ऐसी दोस्ती किसी अन्य के साथ नहीं की। इस तरह उसने जाना कि काका उसे बचपन में बहुत प्यार करते थे।
उत्तर- यंत्रणाओं के बीच जी रहे हरिहर काका की तुलना लेखक ने मँझधार में फंसी उस नाव से की है, जिस पर बैठे सवार चिल्ला कर भी अपनी जान की रक्षा नहीं कर सकते हैं। इसका कारण यह है कि उनकी चिल्लाहट दूर-दूर तक फैले सागर की उठती-गिरती लहरों में खोकर रह जाती है। इस तरह उसकी मदद के लिए कोई नहीं आ पाता और वह जहाज डूब कर रह जाती है।
उत्तर-लेखक को गाँव आरा कस्बे से चालीस किलोमीटर दूर है, जिसकी आबादी ढाई-तीन हजार से अधिक ही होगी। इस गाँव में तीन प्रमुख स्थान हैं। गाँव के पश्चिम किनारे का बड़ा-सा तालाब, गांव के मध्य स्थित बरगद का पुराना वृक्ष और गाँव के पूरब में स्थित ठाकुर जी का विशाल मंदिर। इसे गाँव के लोग ठाकुरबारी कहते हैं। आगे चलकर यही ठाकुरबारी गाँव की पहचान बन गई।
उत्तर- ठाकुरबारी के नाम पर अच्छी-खासी जमीन और अत्यंत विशाल मंदिर है। यहाँ धार्मिक लोगों की एक समिति है जो ठाकुरबारी की देखरेख करती है और इसके संचालन हेतु प्रत्येक तीन साल पर एक पुजारी की नियुक्ति करती है। ठाकुरबारी का मुख्य कार्य है-गाँव के लोगों में ठाकुरबारी के प्रति भक्ति-भावना उत्पन्न करते हुए धर्म-विमुख लोगों को रास्ते पर लाना हैं।
उत्तर- ठाकुरबारी के साथ अधिकांश लोगों का संबंध मन और तन दोनों स्तर पर बहुत ही घनिष्ठ है। कृषि-कार्य से अपना बचा हुआ समय वे ठाकुरबारी में ही बिताते हैं। ठाकुरबारी में साधु-संतों का प्रवचन सुन और ठाकुर जी का दर्शन कर वे अपना यह जीवन सार्थक मानने लगते हैं। उन्हें यह महसूस होता है कि ठाकुरबारी में प्रवेश करते ही वे पवित्र हो जाते हैं। उनके पिछले सारे पाप अपने आप खत्म हो जाते हैं।
उत्तर – लेखक मन बहलाने के लिए कभी-कभी ठाकुरबारी में जाता था लेकिन वहाँ के साधु-संत उसे फूटी आँखों नहीं सुहाते। वे काम-धाम करने में कोई रुचि नहीं लेते हैं। ठाकुर जी को भोग लगाने के नाम पर दोनों जून हलवा-पूड़ी खाते हैं और आराम से पड़े रहते हैं। उन्हें अगर कुछ आता है तो सिर्फ बात बनाना आता है। ठाकुरबारी के साधु-संतों की अकर्मण्यता और उनकी बातूनी आदतों के कारण लेखक ठाकुरबारी से अपना घनिष्ठ संबंध नहीं बना सकता।
उत्तर – हरिहर काका का भरा-पूरा परिवार है। उनके चार भाई हैं। सबकी शादी हो चुकी है। हरिहर काका के अलावा सबके बाल बच्चे हैं। बड़े और छोटे भाई के लड़के काफ़ी सयाने हो गए हैं। दो की शादियाँ हो गई हैं। उनमें से एक पढ़-लिखकर शहर के किसी दफ्तर में क्लर्क करने लगा है, लेकिन हरिहर काका की अपनी देह से कोई औलाद नहीं। औलाद के लिए उन्होंने दो शादियां की, लेकिन बिना बच्चा जने उनकी दोनों पत्नियां स्वर्ग सिधार गई।
उत्तर – हरिहर काका के तीनों भाइयों ने अपनी पत्नियों को यह सीख दी थी कि हरिहर काका की अच्छी तरह सेवा करें। समय पर उन्हें नाश्ता-खाना दें। किसी बात की तकलीफ़ न होने दें। कुछ दिनों तक वे हरिहर काका की खोज-खबर लेती रहीं, फिर उन्हें कौन पूछने वाला ? ‘ठहर-चौका’ लगाकर पंखा झलते हुए अपने मर्दों को अच्छे-अच्छे व्यंजन खिलातीं। हरिहर काका के आगे तो बची-खुची चीजें आतीं। कभी-कभी तो हरिहर काका को रूखा-सूखा खाकर ही संतोष करना पड़ता।
उत्तर – कभी हरिहर काका की तबीयत खराब हो जाती तो वह मुसीबत में पड़ जाते। इतने बड़े परिवार के रहते हुए भी कोई उन्हें पानी देने वाला तक नहीं था। बच्चे या तो पढ़-लिख रहे होते या धमाचौकड़ी मचाते। भाई खेतों पर गए रहते और औरतें हाल पूछने भी नहीं आतीं। दालान के कमरे में अकेले पड़े हरिहर काका को स्वयं उठकर अपनी ज़रूरतों की पूर्ति करनी पड़ती। ऐसे वक्त अपनी पत्नियों को याद कर-करके हरिहर काका की आँखें भर आती। भाइयों के परिवार के प्रति मोहभंग की शुरुआत इन्हीं क्षणों में हुई थी।
MCQs
Harihar Kaka Class 10 से जुड़े MCQs
(a) सेवा सत्कार के साथ
(b) बहुत बुरा और धोखे के साथ संपत्ति हड़पने की कोशिश की
(c) धोखे के साथ संपत्ति हड़पने की कोशिश की
(d) धोखे के साथ
उत्तर: a
(a) ६० बीघा
(b) २० बीघा
(c) ३० बीघा
(d) ६ बीघा
उत्तर: a
(a) धर्म प्रचारक
(b) धार्मिक
(c) ठग और डाकू प्रवृति को
(d) कोई नहीं
उत्तर: c
(a) मौन रह कर
(b) वे बोलने की सामर्थ्य खो चुके थे
(c) सभी
(d) नौकर रख कर
उत्तर: c
(a) धर्म का भय दिखा कर
(b) धोखे से
(c) सभी
(d) कोई नहीं
उत्तर: c
(a) धन संपत्ति धर्म के नाम पर लूटी जाती
(b) अनैतिक गतिविधियां
(c) सभी
(d) कोई नहीं
उत्तर: a
(a) मछली के साथ
(b) चूहे के साथ
(c) जाल में फंसी चिड़िया से
(d) जाल में फंसे आदमी के साथ
उत्तर: c
(a) स्वार्थी और हिंसा वृत्ति को बेनकाब करना
(b) पारिवारिक झगड़े दिखाना
(c) संपत्ति का लालच दिखाना
(d) टी आर पी बढ़ाना
उत्तर: a
(a) खुल कर
(b) छुप कर
(c) कोई नहीं
(d) घुल घुल कर
उत्तर: a
(a) साइकिल पर
(b) अपने कंधे पर बैठा कर
(c) पैदल
(d) अंगुली पकड़ कर
उत्तर: b
(a) भावनात्मक आधार पर
(b) परिवार के नाम पर
(c) धर्म के नाम पर
(d) कोई नहीं
उत्तर: c
(a) दोनों दुर्व्यवहार करते हैं
(b) दोनों ने ज़मीन हथियाने का षड्यंत्र किया
(c) दोनों
(d) कोई नहीं
उत्तर: c
(a) १० बीघे
(b) २० बीघे
(c) ३० बीघे
(d) २ बीघे
उत्तर: b
(a) सरपंच को
(b) ठाकुरबारी जी को
(c) स्वयं को
(d) कोई नहीं
उत्तर: b
(a) अपार श्रद्धा
(b) घृणा
(c) नफरत
(d) प्रेम
उत्तर: a
FAQs
हरिहर काका को लिखा है है लोकप्रिय हिंदी कथाकार मिथिलेश्वर जी ने।
यह पाठ कक्षा 10 के लिए है।
हरिहर काका के 3 भाई थे।
हरिहर काका को जबरन उठाने वाले महंत के आदमी थे।
ठाकुरबारी के नाम पर बीस बीघे खेत हैं।
हरिहर काका के पास पंद्रह बीघे जमीन थी।
आशा है कि इस ब्लॉग से आपको Harihar Kaka Class 10 के बारे में सम्पूर्ण जानकारी मिली होगी। ऐसे ही ब्लॉग पढ़ने के लिए Leverage Edu पर बने रहिए।