दिल्ली यूनिवर्सिटी के स्कूल ऑफ ओपन लर्निंग (SOL) ने पॉलिटकल साइंस के दो पेपरों के सेल्फ लर्निंग मेटीरियल (SLM) में मामूली गलतियों को लेकर एक रिव्यु कमेटी गठित की है। इस संबंध में जानकारी देते हुए एसओएल के प्रिंसिपल प्रो. अजय जायसवाल ने बताया कि 11 अगस्त, 2023 को दिल्ली विश्वविद्यायल की अकादमिक काउंसिल (AC) की बैठक के दौरान कुछ इलेक्टेड AC मेंबर्स द्वारा राजनीति विज्ञान के दो पेपरों के SLM में कुछ गलतियों को मार्क किया गया था।
बताते चलें कि AC की मीटिंग 11 अगस्त को आयोजित हुई थी और इसकी अध्यक्षता दिल्ली यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर प्रोफेसर योगेश सिंह ने की थी।
क्या कहना है एसओएल के प्रिंसिपल का?
प्रो. जायसवाल ने बताया कि स्कूल ऑफ ओपन लर्निंग ने ट्रांस्लेटिन, टाइपोग्राफिक, ग्राममेटिकल, फैकल्टी गलतियों को गंभीरता से लेते हुए इस मामले में तुरंत प्रभाव से 12 अगस्त, 2023 को लोकप्रिय एकेडेमिक्स की एक रिव्यु कमेटी गठित कर दी है। जायसवाल आगे कहते हैं कि सख्त रिव्यु सिस्टम संस्थान की सर्वोच्च प्राथमिकता है। SLM के लिए कंटेट लेखकों ने एडिटोरियल बोर्ड के साथ मिलकर स्टडी मटीरियल तैयार किया है।
रेगुलर मोड के साथ-साथ डिस्टेंस मोड भी हुआ लागू
प्रो. जायसवाल ने बताया कि NEP-2022 को दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) में रेगुलर मोड के साथ-साथ डिस्टेंस मोड में भी लागू किया गया है। NEP-2020 और UGF- 2022 के एग्जीक्यूशन के बाद, SOL ने जुलाई 2022 के DEB की नई गाइडलाइन्स में उल्लिखित सेल्फ लर्निंग मेटीरियल (एसएलएम) के निर्माण की साइंटिफिक मेथड का पालन किया है।
SOL ने और कई भारतीय विश्वविद्यालयों से कंटेट लेखकों को लिस्टेड किया है। प्रत्येक विषय के कंटेट लेखकों को संबंधित विषय के वरिष्ठ प्रोफेसर के साथ बातचीत के बाद शॉर्टलिस्ट किया गया है।
फिर भी SOL अपने SLM में किसी भी करेक्शन/अमेंडमेंट/सजेशन के लिए हमेशा खुला है। इस उद्देश्य के लिए, प्रत्येक SLM प्रिंटेड मटीरियल के पहले पृष्ठ पर इस बारे स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है। स्टडी मटीरियल संबंधी कोई भी फीडबैक या सुझाव ईमेल [email protected] पर मेल किए जा सकते हैं।
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