अब मातृभाषा में मैथ्स पढ़ सकेंगे छात्र, NCERT कराएगा किताबों का अनुवाद 

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नेशनल काउन्सिल ऑफ़ एजुकेशन रिसर्च एंड ट्रेनिंग (NCERT) गणित की किताबों का भारतीय भाषाओं में अनुवाद करवाएगा। इन ट्रांसलेटेड किताबों को छात्र दीक्षा पोर्टल पर जाकर पढ़ सकेंगे। किताबों का ट्रांसलेशन करने के लिए मशीन ट्रांसलेशन टूल्स की मदद ली जा रही है। इन ट्रांसलेटेड किताबों की SCERT की फैकल्टी के द्वारा समीक्षा की जाएगी।

22 भारतीय भाषाओं में किया जाएगा अनुवाद 

NCERT गणित की किताबों का ट्रांसलेशन 22 भारतीय भाषाओं में करवाएगा। इसके पीछे NCERT का उद्देश्य क्षेत्रीय भाषाओं को प्रोत्साहन देना है। NCERT के विशेषज्ञों का मानना है कि बजाए इंग्लिश के अपनी मातृभाषा में स्टूडेंट्स तथ्यों को अच्छी तरह से समझते हैं। इसी बात को ध्यान में रखते हुए NCERT के द्वारा मैथ्स की किताबों का भारतीय भाषाओं में ट्रांसलेशन कराने का फैसला लिया गया है। 

ट्रांसलेटेड किताबें उपलब्ध कराने में लग सकता है एक वर्ष का समय 

NCERT के द्वारा मैथ्स की किताबों की ट्रांसलेशन प्रक्रिया को पूरा करने में लगभग एक वर्ष का समय लग सकता है। इन किताबों का अनुवाद संविधान में अनुसूचित 22 भारतीय भाषाओं में किया जाएगा। NCERT द्वारा चलाई जा रही इस मुहिम का प्रमुख लक्ष्य उन ग्रामीण इलाकों के स्टूडेंट्स की मदद करना है जो अंग्रेजी के कारण मैथ्स के कंसेप्ट्स को अच्छे से समझने में दिक्कत का सामना करते हैं।

इस कार्य को बेहतर तरीके से अंजाम देने के लिए NCERT के द्वारा अलग से ट्रांसलेशन सेल तैयार किया गया है जो विशेष रूप से मैथ्स की किताबों के अनुवाद का ही काम करेगा। इसके अलावा इन किताबों की समीक्षा SCERT की फैकल्टी के द्वारा की जाएगी। ये SCERT फैकल्टी मेंबर्स अपने अपने राज्यों में ट्रांसलेट की गईं मैथ्स की किताबों की क्षेत्रीय भाषाओं में जांच करेंगे।

अन्य विषयों की पुस्तकों के अनुवाद की भी है योजना

गणित की किताबों के अनुवाद से जुड़ी इस परियोजना के सफल हो जाने के बाद NCERT अन्य विषयों जैसे साइंस, सोशल साइंस, इतिहास आदि विषयों की किताबों का ट्रांसलेशन भारतीय भाषाओं में कराने की योजना पर विचार कर सकता है। फ़िलहाल NCERT के द्वारा क्लास 1 और 2 की मैथ्स की किताबों का अनुवाद कार्य पूरा कर लिया गया है और उन्हें समीक्षा के लिए SCERT के फैकल्टी सदस्यों के पास भेजा जा चुका है।  

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