विश्व साक्षरता दिवस हर साल 8 सितंबर को दुनियाभर में साक्षरता के महत्व और उसकी अनिवार्यता को उजागर करने के लिए मनाया जाता है। 1966 में यूनेस्को द्वारा स्थापित इस दिवस का उद्देश्य समाज के हर व्यक्ति तक शिक्षा की पहुंच को सुनिश्चित करना और साक्षरता के जरिए व्यक्तिगत और सामाजिक विकास को बढ़ावा देना है। यह दिन हमें यह याद दिलाता है कि शिक्षा सिर्फ एक अधिकार नहीं, बल्कि सामाजिक सशक्तिकरण, गरीबी उन्मूलन और सतत विकास का मुख्य आधार है। इसलिए इस ब्लॉग में विश्व साक्षरता दिवस (Vishwa Saksharta Diwas) का इतिहास, महत्व और थीम के बारे में बताया गया है।
विश्व साक्षरता दिवस क्या है?
विश्व साक्षरता दिवस (International Literacy Day in Hindi) प्रतिवर्ष 8 सितंबर को मनाया जाता है और यह एक महत्वपूर्ण अन्तरराष्ट्रीय दिवस है जिसका उद्देश्य साक्षरता को बढ़ावा देना और शिक्षा के महत्व को जागरूक करना है। इस दिन कई प्रकार के कार्यक्रम और चर्चाएं आयोजित की जाती हैं, जिनमें शिक्षा से संबंधित मुद्दों पर चर्चा की जाती है और शिक्षा के महत्व को बढ़ावा देने के तरीकों पर गौर किया जाता है।
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विश्व साक्षरता दिवस क्यों मनाया जाता है?
विश्व साक्षरता दिवस को मनाने का मुख्य उद्देश्य विश्वभर में साक्षरता को बढ़ावा देना है। इस दिन के माध्यम से शिक्षा के महत्व को जागरूक किया जाता है और साक्षरता के लक्ष्य को पूरा करने के लिए कई प्रकार की योजनाएँ और कार्यक्रमों की शुरुआत की जाती है।
विश्व साक्षरता दिवस के माध्यम से लोगों को शिक्षा के महत्व को समझाने का प्रयास किया जाता है। साक्षरता का सुधार न केवल व्यक्तिगत सफलता और विकास का माध्यम है, बल्कि यह एक समाज के लिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह सामाजिक, आर्थिक, और सांस्कृतिक विकास को बढ़ावा देता है।
विश्व साक्षरता दिवस 2024 की थीम
किसी भी दिवस को मनाने के लिए एक थीम निर्धारित की जाती है। ऐसे ही हर साल विश्व साक्षरता दिवस एक निर्धारित थीम के तहत मनाया जाता है। इस साल 2024 में इस दिवस की थीम ‘प्रमोटिंग मल्टीलिंगुअल एजुकेशन : लिटरेसी फॉर म्युचुअल अंडरस्टैंडिंग एंड पीस’ (Promoting Multilingual Education: Literacy for Mutual Understanding and Peace) रखी गई है। इससे पहले साल 2023 में इस दिवस की थीम ‘प्रमोटिंग लिटरेसी फॉर ए वर्ल्ड इन ट्रांजीशन : भिलडिंग द फाउंडेशन फॉर सस्टेनेबल एंड पीसफुल सोसाइटीज’ (Promoting literacy for a world in transition: Building the foundation for sustainable and peaceful societies) रखी गई थी।
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विश्व साक्षरता दिवस का इतिहास
विश्व साक्षरता दिवस के इतिहास (History of Vishwa Saksharta Diwas) के बारे में यहाँ बताया गया है :
- विश्व साक्षरता दिवस का आयोजन पहली बार 8 सितंबर 1967 को किया गया था, जब यूनेस्को (United Nations Educational, Scientific and Cultural Organization) ने इसे मनाने का प्रस्ताव दिया था।
- इसका मुख्य उद्देश्य दुनियाभर में साक्षरता के स्तर को सुधारना और यह संदेश फैलाना था कि साक्षरता हर व्यक्ति का मौलिक अधिकार है।
8 सितंबर के दिन ही क्यों मनाया जाता है विश्व साक्षरता दिवस?
विश्व साक्षरता दिवस का चयन 8 सितंबर को किया गया, क्योंकि इस दिन 1966 में यूनेस्को ने साक्षरता के क्षेत्र में विश्वभर में शिक्षा के कार्यों को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण समझौते को स्वीकृति दी थी। इस समझौते के तहत, यूनेस्को ने साक्षरता के क्षेत्र में समर्थन प्रदान करने और विद्यार्थियों के लिए विशेष शिक्षा कार्यक्रम आयोजित करने की प्रतिबद्धि की थी।
विश्व साक्षरता दिवस का महत्व
यविश्व साक्षरता दिवस का महत्व (Importance of Vishwa Saksharta Diwas) यहाँ बताया गया है :
- शिक्षा का महत्व: विश्व साक्षरता दिवस के माध्यम से लोगों को शिक्षा के महत्व को समझाने और इसे महत्वपूर्ण बनाने का प्रोत्साहन मिलता है।
- सामाजिक समरसता: साक्षरता के माध्यम से, समाज में सामाजिक समरसता और समाज में अधिकार सुनिश्चित होते हैं।
- आर्थिक विकास: साक्षरता आर्थिक विकास के लिए एक महत्वपूर्ण घड़ीचक्र होती है। इससे अधिक विद्या, योग्यता और अवसरों के साथ और अधिक आर्थिक स्वतंत्रता प्राप्त कर सकते हैं।
- जीवन में सुधार: साक्षरता के बाद, लोग अपने जीवन में सुधार कर सकते हैं, जैसे कि बेहतर रोजगार प्राप्त करना, स्वास्थ्य की देखभाल करना और अपने और अपने परिवार के जीवन की गुणवत्ता को बढ़ावा देना।
- समाज के विकास में योगदान: साक्षरता वाले लोग समाज में अधिक ज्ञान और सूचना के एक स्रोत के रूप में कार्य कर सकते हैं और समाज के विकास में अपना योगदान देने के साथ अधिक समर्थ होते हैं।
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विश्व साक्षरता दिवस कैसे मनाया जाता है?
इस दिन साक्षरता को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न कार्यक्रम और प्रोजेक्ट्स को आयोजित किया जाता है, जिनमें शिक्षार्थियों और विभिन्न समुदायों के लिए शिक्षा प्राप्ति के लिए योजनाएँ और कार्यक्रम शामिल होते हैं। यह दिन साक्षरता के महत्व को जागरूक करने का एक महत्वपूर्ण मौका भी प्रदान करता है और सामाजिक विकास के प्रति लोगों की जागरूकता बढ़ाता है।
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FAQ
विश्व साक्षरता दिवस के मुख्य संदेश में शिक्षा और साक्षरता के महत्व को जागरूक करने का प्रयास किया जाता है। इसके साथ ही साक्षरता को बढ़ावा देने के लिए कार्य करने की भी गुणवत्ता बढ़ाई जाती है।
विश्व साक्षरता दिवस का आयोजन पहली बार 8 सितंबर 1967 को किया गया था। इसका चयन इसलिए किया गया क्योंकि 8 सितंबर 1966 को यूनेस्को ने साक्षरता के क्षेत्र में विश्वभर में शिक्षा के कार्यों के लिए महत्वपूर्ण समझौते को स्वीकृति दी थी।
विश्व साक्षरता दिवस के मौके पर विभिन्न कार्यक्रम आयोजित होते हैं, जैसे कि साक्षरता के प्रमोट करने के लिए शिक्षा संगठनों और सरकारों के द्वारा विशेष कार्यक्रम, शिक्षा और साक्षरता से संबंधित सभी लोगों के लिए सेमिनार और वेबिनार, साक्षरता के साथ साहित्य मेलों का आयोजन, और साक्षरता को बढ़ावा देने के लिए कैंपेन्स आदि।
साक्षरता व्यक्तिगत और सामाजिक विकास के लिए महत्वपूर्ण है। यह विद्या और सूचना को पहचानने, समझने, और उपयोग करने की क्षमता प्रदान करता है और समाज में समरसता, आर्थिक विकास, और व्यक्तिगत स्वतंत्रता को बढ़ावा देता है।
आशा है कि इस ब्लाॅग में आपको Vishwa Saksharta Diwas (विश्व साक्षरता दिवस) के बारे में पूरी जानकारी मिल गई होगी। इसी तरह के अन्य ट्रेंडिंग आर्टिकल्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बने रहें।