Chaitra Navratri in Hindi: जानिए चैत्र नवरात्रि का महत्व और इसके पीछे की पौराणिक कथा

1 minute read
Chaitra Navratri in Hindi

चैत्र नवरात्रि हिन्दुओं के प्रमुख त्योहारों में से एक है। इन दिनों में भक्त देवी दुर्गा पूजा करते हैं और उनकी भक्ति में नौ दिनों का उपवास रखते हैं। ये दिन देवी दुर्गा के नौ अलग अलग रूपों की आराधना के लिए समर्पित हैं। यह चैत्र माह के हिन्दू चंद्र महीने में मनाया जाता है। यह सामान्यत: नवरात्रि सामान्यत : मार्च या अप्रैल महीने में मनाया जाता है। इस त्यौहार की समाप्ति नौवें दिन होती है, ऐसा माना जाता है कि इस दिन भगवान राम का जन्म हुआ था। यहाँ chaitra navratri in Hindi के बारे में विस्तार से बताया जा रहा है।

चैत्र नवरात्रि के बारे में

चैत्र नवरात्रि (chaitra navratri in Hindi) हिंदुओं के मुख्य त्योहारों में से एक है। यह नौ दिनों तक मनाया जाने वाला एक त्यौहार है। प्रत्येक दिन देवी दुर्गा के नौ अलग अलग रूपों की उपासना की जाती है। यह बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। माता के भक्त सभी नौ दिनों ओर व्रत आदि रखते हैं। ये नौ दिन घरों में व्रत पूजा को ध्यान में रखते हुए कुछ विशेष प्रकार के पकवान बनाए जाते हैं। नवरात्रि में साबूदाना खिचड़ी, कूटू के आटे की पूरी और सिंघाड़े की पूरी आदि बनाई जाती हैं।

यह भी पढ़ें : जानिए नवरात्रि साल में दो बार क्यों मनाते हैं

चैत्र नवरात्रि 2024 कब से कब तक चलेंगे

सनातन धर्म के कैलेंडर के अनुसार चैत्र नवरात्रि (chaitra navratri in Hindi) 2024 दिनांक 9 अप्रैल 2024 से शुरू होकर 17 अप्रैल 2024 तक चलेंगे। भक्त 9 अप्रैल 2024 के दिन घटस्थापना के बाद देवी माँ दुर्गा की पूजा शुरू कर सकते हैं।

चैत्र नवरात्रि 2024 का कैलेंडर 

चैत्र नवरात्रि  2024 का कैलेंडर इस प्रकार है:

तिथि तिथि और समय 
प्रतिपदा तिथि 8 अप्रैल 2024 – रात्रि 11 :50 
प्रतिपदा तिथि समाप्त 9 अप्रैल 2024 – 8 : 30 अपरान्ह 
वैधृति योग का प्रारम्भ 8 अप्रैल 2024 – 6 : 14 अपरान्ह 
वैधृति योग समाप्त 9 अप्रैल 2024 – 2 : 18 अपरान्ह 

चैत्र नवरात्रि का महत्व

चैत्र नवरात्रि (chaitra navratri in Hindi) के महत्व निम्नलिखित हैं-

  • नवरात्रि के 9 दिनों तक माँ दुर्गा के लिए व्रत रखने और पूजा करने से भक्तों को सुख और समृद्धि की प्राप्ति होती है। 
  • ये नौ दिन माँ दुर्गा की आराधना करने से भक्तों को माँ दुर्गा का आशीर्वाद प्राप्त होता है। 
  • ऐसा माना जाता है कि नवरात्रि के नौ दिनों में देवी नौ अलग अलग रूपों में प्रकट होती हैं और अपने भक्तों पर कृपा बरसाती हैं। 

चैत्र नवरात्रि 2024 के लिए पूजा मुहूर्त 

चैत्र नवरात्रि के लिए पूजा मुहूर्त बारे में नीचे टेबल में बताया गया है-

सुबह का मुहूर्त06 : 28 AM – 8 : 01 AM
दोपहर का मुहूर्त11 : 38 AM – 1 : 12 PM
शाम का मुहूर्त03 : 06 PM – 4 : 40 PM 

नवरात्रि क्यों मनाए जाते हैं?

नवरात्रि (chaitra navratri in Hindi) देवी के नौ रूपों की पूजा का त्यौहार है। यह त्यौहार बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। इसके साथ ही यह त्यौहार नई शुरुआत का भी सूचक है। नवरात्रि को मनाने के पीछे का एक अन्य कारण आत्म शुद्धि भी है। ऐसा माना जाता नवरात्रि पर व्रत रखने से आत्मा शुद्ध होती है और मनुष्य का आध्यात्मिक विकास होता है।

चैत्र नवरात्रि के दौरान किए जाने वाले प्रमुख धार्मिक कार्य 

चैत्र नवरात्रि पर प्रमुख रूप से निम्नलिखित धार्मिक क्रियाएं की जाती हैं-

  • घाट स्थापना : नवरात्रि में घर में कलश स्थापित किया जाता है।   
  • पूजा :  इन दिनों में देवी दुर्गा की पूजा की जाती है। 
  • व्रत : इन नौ दिनों भक्त माता की भक्ति में नौ दिन व्रत रखते हैं। 
  • इस दिन लोग दान पुण्य से जुड़े कार्य भी करते हैं।

चैत्र नवरात्रि का त्यौहार कैसे मनाया जाता है?

चैत्र नवरात्रि (chaitra navratri in Hindi) नौ दिनों तक चलने वाला त्यौहार है। चैत्र नवरात्रि ि के दिनों में घर में कलश स्थापित किया जाता है और देवी दुर्गा की मुर्ति स्थापित की जाती है। अगले नौ दिनों तक देवी दुर्गा के नौ रूपों की आराधना की जाती है। हर दिन एक अलग देवी की पूजा की जाती है और हर दिन लोग अलग अलग कपड़े पहनते हैं। ये नौ दिनों सुबह और शाम देवी की आरती की जाती है। नवरात्रि के नौ दिन भक्त देवी की उपासना में व्रत रखते हैं। इन नौ दिनों घरों में व्रत से संबंधित कुछ विशेष पकवान जैसे कूटू के आटे की पूरी और सिंघाड़े के आटे की पूरी आदि बनाए जाते हैं।

चैत्र नवरात्रि  घटस्थापना के लिए पूजा सामग्री

चैत्र नवरात्रि घटस्थापना के लिए निम्नलिखित पूजा सामग्री आवश्यक होती है-

  • चावल 
  • लाल वर्स्त्र 
  • पुष्प कलश 
  • माता की फोटो 
  • 7 प्रकार के अनाज 
  • पवित्र मिट्टी 
  • गंगाजल 
  • आम या अशोक के पत्ते 
  • सुपारी 
  • जटा वाला नारियल 
  • पुष्प 

नवरात्रि के दिन के अनुसार भोग

नवरात्रि के नौ दिनों के अनुसार देवी माँ को अर्पित किया जाने वाला भोग इस प्रकार है:

नवरात्रि 2024 नवरात्रि के दिन देवी मां का दिन 
पहला दिवस माँ शैलपुत्री देवी देशी घी 
दूसरा दिवस ब्रह्मचारिणी दिवस शक़्कर, सफ़ेद मिठाई, मिश्री और फल 
तीसरा दिवस चंद्रघंटा देवी मिठाई और खीर 
चौथा दिवस कुष्मांडा देवी मालपुआ 
पांचवां दिवस स्कंदमाता देवी केला 
छठा दिवस कात्यायनी देवी शहद 
सातवां दिवस कालरात्रि दिवस गुड़ 
आठवां दिन महागौरी देवी नारियल 

नौ दुर्गों के पीछे की पौराणिक कथा 

नवरात्रि (chaitra navratri in Hindi) हिन्दुओं के सबसे पवित्र त्योहारों में से एक है। यह तो सभी जानते हैं कि नवरात्रि में देवी दुर्गा के अलग अलग रूपों की पूजा की जाती है। लेकिन इन नवरात्रि के पीछे की एक पौराणिक कथा भी है। दरअसल पौराणिक कथाओं के अनुसार प्राचीनकाल में महिषासुर नाम का एक दानव हुआ करता था। उसने कठोर तपस्या से ब्रम्हा जी को प्रसन्न कर लिया। ब्रम्हा ने प्रसन्न होकर उससे वरदान मांगने को कहा। तब महिषासुर दानव ने भगवान ब्रम्हा से अमर होने का वरदान माँगा। ब्रम्हा ने कहा कि अमर होने का वरदान नहीं दिया जा सकता। तब उसने ब्रम्हा से यह वरदान माँगा कि कोई पुरुष या देव अथवा दानव  उसे न मार सके। ब्रम्हा ने उसे वरदान दे दिया कि तीनों लोकों में कोई पुरुष, देव अथवा दानव उसे नहीं मार सकता है। यह वरदान पाने के बाद महिषासुर दानव के अत्याचार बहुत ज्यादा बढ़ने लगे। उसे यह विश्वास हो चला था कि ब्रम्हा के वरदान के बाद अब वह अमर हो चला है।  

एक दिन उसने देवलोक पर आक्रमण कर दिया। इस बात से घबराकर सभी देवता ब्रम्हा, विष्णु और महेश की शरण में गए। क्योंकि कोई पुरुष, देवता या दानव महिषासुर दानव का वध नहीं कर सकता था इसलिए  मां आदिशक्ति देवी दुर्गा का रूप में प्रकट हुई। नौ दिनों तक महिषासुर दानव और देवी दुर्गा के बीच में घमासान युद्ध चला। दसवें दिन मां दुर्गा ने दुष्ट दानव महिषासुर का अंत कर दिया। इसी उपलक्ष्य में हर वर्ष नवरात्रि का त्यौहार मनाया जाता है। 

FAQs

चैत्र नवरात्रि स्थापना कब है?

वर्ष 2024 में नवरात्रि की शुरुआत 17 अप्रैल 2024 से हो रही है।

कौन सा नवरात्रि ज्यादा महत्वपूर्ण है?

नवरात्रि का शुरुआती शरद ऋतु का त्योहार, जिसे शरद नवरात्रि भी कहा जाता है, सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है।

नवरात्रि के पहले दिन हमें क्या चढ़ाना चाहिए?

नवरात्रि के पहले दिन हमें शुद्ध देशी घी से बना भोग देवी मां को चढ़ाना चाहिए। 

आशा है कि आपको chaitra navratri in Hindi की जानकारी मिली होगी जो आपके सामान्य ज्ञान को बढ़ाने का काम करेगी। इसी प्रकार के अन्य ट्रेंडिंग इवेंट्स पर ब्लॉग्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बनें रहें।

Leave a Reply

Required fields are marked *

*

*