मुहावरे जिनका प्रयोग हम लगभग प्रतिदिन करते हैं, मुहावरे हमारी बातों को कम शब्दों में बेहतर तरह से प्रस्तुत करने में मदद करते हैं। कई बार ऐसा होता है कि हम मुहावरों का सही अर्थ जानें बिना ही उनका प्रयोग कर देते हैं, जिससे अर्थ का अनर्थ हो जाता है। ऐसे में आइए समझते हैं ‘तौलकर बोलना मुहावरे का अर्थ’ (TolKar Bolna Muhavare Ka Arth) और उसका वाक्य प्रयोग। इस ब्लॉग के माध्यम से आप तौलकर बोलना मुहावरे का वाक्यों में प्रयोग और इसकी व्याख्या के बारे में जानेगें।
मुहावरे किसे कहते हैं?
मुहावरे और उनके अर्थ – किसी विशेष शब्द के अर्थ को आम जन की भाषा में समझाने के लिए जिस वाक्यांश का प्रयोग किया जाता है उसे मुहावरा कहते हैं। इसमें वाक्यांश का सीधा सीधा अर्थ न लेकर बात को घुमा फिराकर कहा जाता है। इसमें भाषा को थोड़ा मजाकिया, प्रभावशाली और संक्षिप्त रूप में कहा जाता है।
तौलकर बोलना मुहावरे का अर्थ क्या है?
तौलकर बोलना मुहावरे का अर्थ (TolKar Bolna Muhavare Ka Arth) होता है ‘सोच-समझकर बोलना’। इसका मतलब है कि बोलने से पहले यह सोचना ज़रूरी है कि हम क्या कह रहे हैं और इसका क्या प्रभाव पड़ सकता है, तो उसके लिए ‘तौलकर बोलना’ मुहावरे का प्रयोग करते हैं।
तौलकर बोलना पर व्याख्या
“तौलकर बोलना” आसान शब्दों में समझें तो इस मुहावरे का प्रयोग कुछ इस तरह किया जाता है जैसे- रोहित को हमेशा तौलकर बोलना चाहिए, नहीं तो वह अक्सर मुसीबत में पड़ जाता है।
तौलकर बोलना मुहावरे का वाक्य प्रयोग
तौलकर बोलना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग निम्नलिखित है :
- चुनाव के समय नेता जी ने अपने भाषण में तौलकर शब्दों का इस्तेमाल किया, जिससे सभी लोग प्रभावित हुए।
- आजकल तौलकर लोगों से बात करनी चाहिए, नहीं तो इसका गलत प्रभाव भी पड़ जाता है।
- चोरों ने पुलिस वालों को बहुत ही तौलकर उत्तर दिया, यह सुनकर सब हैरान हो गए।
- रोहन कभी भी जल्दबाजी में कोई उत्तर नहीं देता है, वो हमेशा तौलकर ही बातकरता है।
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आशा है कि तौलकर बोलना मुहावरे का अर्थ (TolKar Bolna Muhavare Ka Arth) आपको समझ आया होगा। हिंदी मुहावरे के अन्य ब्लॉग्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बनें रहें।