हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का हिंदी अर्थ (Hawa ka rukh pehchanna muhavare ka arth) ‘अवसर की आवश्यकता को पहचानना’ या ‘ज़माने के हालत के अनुसार काम करना’ होता है। जब कोई व्यक्ति अपने अनुभव से मौजूदा वक्त के हालत को समझकर निर्णय लेता है तब हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का प्रयोग किया जाता है। इस ब्लॉग के माध्यम से आप ‘हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का अर्थ’ (Hawa ka rukh pehchanna muhavare ka arth) का वाक्यों में प्रयोग और अन्य महत्वपूर्ण मुहावरों के बारे में जानेगें।
मुहावरे किसे कहते हैं?
किसी विशेष शब्द के अर्थ को आम जन की भाषा में समझाने के लिए जिस वाक्यांश का प्रयोग किया जाता है उसे ‘मुहावरा’ कहते हैं। इसमें वाक्यांश का सीधा सीधा अर्थ न लेकर बात को घुमा फिराकर कहा जाता है। इसमें भाषा को थोड़ा मजाकिया, प्रभावशाली और संक्षिप्त रूप में कहा जाता है।
हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का अर्थ क्या है?
हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का हिंदी अर्थ (Hawa ka rukh pehchanna muhavare ka arth) ‘अवसर की आवश्यकता को पहचानना’ या ‘ज़माने की हालत के अनुसार काम करना’ होता है।
हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग
हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग निम्नलिखित हैं:-
- अनुभवी व्यक्ति हमेशा हवा का रुख़ पहचानते है।
- मोहन ने कहा, जिनके अभी दूध के दांत भी नहीं टूटे उनके लिए हवा का रुख़ पहचानना आसान नहीं है।
- दादाजी चुनाव में हवा का रुख़ पहचानकर अपना वोट देते थे।
- पिताजी ने हवा का रुख़ पहचानकर विदेश जाने का निर्णय लिया था।
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आशा है कि आपको, हवा का रुख़ पहचानना मुहावरे का अर्थ (Hawa ka rukh pehchanna muhavare ka arth) से संबंधित सभी आवश्यक जानकारी मिल गई होगी। हिंदी मुहावरों के अन्य ब्लॉग्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बनें रहें।