जहां चाह वहां राह मुहावरे का अर्थ (Jaha Chaha Waha Raha Muhavare Ka Arth) होता है- यदि किसी काम को करने की इच्छा और शक्ति हो तो उस काम को करने का रास्ता निकल आता है। जब कोई व्यक्ति अपने दृढ़-निश्चय और शक्ति से किसी भी काम को पूरा करने के लिए सोचता है तो उस काम के लिए रास्ता खुद बनता रहता है। इस ब्लाॅग में हम जहां चाह वहां राह मुहावरे का अर्थ, वाक्यों में प्रयोग और इसकी व्याख्या के बारे में जानेंगे।
मुहावरे किसे कहते हैं?
किसी विशेष शब्द के अर्थ को आम जन की भाषा में समझाने के लिए जिस वाक्यांश का प्रयोग किया जाता है उसे ‘मुहावरा’ कहते हैं। इसमें वाक्यांश का सीधा-सीधा अर्थ न लेकर बात को घुमा फिराकर कहा जाता है। इसमें भाषा को थोड़ा मजाकिया, प्रभावशाली और संक्षिप्त रूप में कहा जाता है।
जहां चाह वहां राह मुहावरे का अर्थ क्या है?
जहां चाह वहां राह मुहावरे का हिंदी अर्थ (Jaha Chaha Waha Raha Muhavare Ka Arth) होता है- यदि किसी काम को करने की इच्छा और शक्ति हो तो उस काम को करने का रास्ता निकल आता है।
जहां चाह वहां राह मुहावरे का वाक्य में प्रयोग
जहां चाह वहां राह मुहावरे का वाक्यों में प्रयोग इस प्रकार हैः
- मोहन ने गांव में ही क्रिकेट खेलना शुरू किया था, लेकिन नेशनल टीम में सेलेक्ट होने पर सभी ने कहा कि मोहन ने जहां चाह वहां उसकी राह बन गई।
- शेखर ने निर्णय लिया है कि मुझे नौकरी करनी चाहिए और उसने बिजनेस शुरू कर जहां चाह वहां राह बना ली।
- रीता की बहन ने अपनी मन की शादी की बात कही तो सभी ने कहा कि शादी की राह वहीं बननी चाहिए जहां उसकी चाह है।
- अध्यापक ने कक्षा में जहां चाह वहां राह मुहावरे का अर्थ बताया।
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आशा है कि आपको जहां चाह वहां राह मुहावरे का अर्थ (Jaha Chaha Waha Raha Muhavare Ka Arth) के बारे में पूरी जानकारी मिल गई होगी। हिंदी मुहावरों के अन्य ब्लॉग्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बने रहें।