20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi: स्वामी विवेकानंद पर 20 अनमोल वाक्य

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20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi

20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi: भारत में समय-समय पर ऐसे कई महान विचारक हुए, जिनके विचारों ने समाज का मार्गदर्शन करने के साथ-साथ युवाओं के प्रेरणास्रोत के रूप में अपनी महान भूमिका निभाई। ऐसे ही महान विचारकों में से एक स्वामी विवेकानंद का भी नाम आता है। बताना चाहेंगे कि वे न केवल एक संत थे, बल्कि एक क्रांतिकारी विचारक, उत्कृष्ट वक्ता और सच्चे राष्ट्रभक्त भी थे। स्वामी विवेकानंद का जन्म 12 जनवरी 1863 को कोलकाता में हुआ था और उनका वास्तविक नाम नरेंद्रनाथ दत्त था। 

स्वामी जी ने दुनिया को भारतीय संस्कृति, वेद, उपनिषद और अध्यात्म की महानता के बारे में बताया। स्वामी विवेकानंद का जीवन इस बात का उदाहरण है कि आत्मविश्वास, शिक्षा और सेवा भावना से कोई भी इंसान दुनिया में बदलाव ला सकता है। बता दें कि जीवन को सही दिशा देने के लिए स्वामी विवेकानंद पर 20 लाइन (20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi) एक उपयोगी और जानकारीपूर्ण संग्रह हो सकता है। इसलिए इस लेख में दी गई स्वामी विवेकानंद पर 20 लाइन (20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi) आपका परिचय स्वामी जी के विचारों से करवाएंगी।

स्वामी विवेकानंद पर 20 अनमोल वाक्य (20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi)

स्वामी विवेकानंद पर 20 अनमोल वाक्य (20 Lines on Swami Vivekananda in Hindi) इस प्रकार हैं, जो आपके सामान्य ज्ञान को बढ़ाने का काम करेंगे –

  1. स्वामी विवेकानंद का जन्म 12 जनवरी 1863 को कोलकाता में हुआ था। बता दें कि उनका झुकाव बचपन से ही गहरी जिज्ञासा और ज्ञान की ओर था।
  2. स्वामी विवेकानंद जी ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा ग्रहण की और 16 वर्ष की आयु में हाईस्कूल की परीक्षा प्रथम श्रेणी से पास की।
  3. इसके बाद उन्होंने वर्ष 1879 में ‘प्रेसीडेंसी कॉलेज’, कलकत्ता में दाखिला लिया। इसके एक वर्ष बाद स्वामी जी ने ‘जनरल असेंबली इंस्टीट्यूट’ में कॉलेज के सिलेबस के अध्ययन के साथ-साथ, साहित्य, दर्शन और धर्म का गंभीर अध्ययन किया।
  4. स्वामी विवेकानंद रामकृष्ण परमहंस के प्रमुख शिष्य और संन्यास के प्रतीक बने। उन्होंने विश्व मंच पर भारत की आध्यात्मिक पहचान को स्थापित किया।
  5. वर्ष 1897 में उन्होंने ‘रामकृष्ण मिशन’ तथा ‘रामकृष्ण मठ’ की स्थापना की, जिसका उद्देश्य मानव को धर्म और मानवता से जोड़ना और एक सभ्य समाज की नींव रखना था।
  6. इसी समय उन्होंने कलकत्ता स्थित बेलूर मठ का निर्माण कराया। बता दें कि वर्ष 1899 के आरंभ में रामकृष्ण परमहंस के अनुयायियों का स्थायी केंद्र बन गया।
  7. वर्ष 1893 के शिकागो धर्म सम्मेलन में दिए उनके भाषण ने विश्व को चौंका दिया, जिसका आरंभ उन्होंने “मेरे अमेरिका के भाइयों और बहनों” कहकर किया। स्वामी जी के विचारों ने शिकागों में उपस्थित लोगों के दिलों को जीतने का काम किया।
  8. स्वामी विवेकानंद का मानना था कि सेवा ही सच्चा धर्म है। इसी कारण से उन्होंने युवाओं के आत्मविश्वास, साहस और स्वाभिमान को बढ़ाने के साथ-साथ उनका मार्गदर्शन किया।
  9. स्वामी विवेकानंद का दर्शन आत्मा की शक्ति और मानव सेवा पर आधारित था। अपने दर्शन के आधार पर ही उन्होंने वेदांत और योग को पश्चिमी दुनिया में लोकप्रिय किया।
  10. स्वामी विवेकानंद ने शिक्षा को चरित्र निर्माण और आत्मनिर्भरता से जोड़ने का कार्य किया। इसी के साथ उन्होंने मानव सेवा के उद्देश्य से रामकृष्ण मिशन की स्थापना की।
  11. स्वामी विवेकानंद का कहना था कि “उठो, जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य ना मिल जाए।”
  12. स्वामी विवेकानंद ने जीवनभर जाति-पाती, अंधविश्वास और सामाजिक भेदभाव का विरोध किया।
  13. स्वामी विवेकानंद का जीवन एक प्रेरणा है, जो हमें आत्म-ज्ञान और आत्म-बल का संदेश देता है।
  14. वर्ष 1887 से 1901 के बीच स्वामी विवेकांनद ने अनेक विषयों जैसे- राज योग, कर्म योग आदि पर बहुत से ग्रंथों की रचना की, जिन्होंने समाज को धर्म का मार्ग दिखाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
  15. उनका मानना था कि शरीर, मन और आत्मा के संतुलन से जीवन को सुंदर बनाया जा सकता था।
  16. स्वामी विवेकानंद ने भारतीय युवाओं में आत्मगौरव और राष्ट्रीयता की भावना जगाई।
  17. उनका जीवन सेवा, त्याग और ज्ञान की मिसाल है। बता दें कि उन्होंने न केवल भारत के युवाओं को आत्मबल और आत्मविश्वास का पाठ पढ़ाया बल्कि समूचे विश्व को इस ज्ञान से परिचित करवाया।
  18. स्वामी विवेकानंद के जीवन का उद्देश्य जाग्रत भारत, सशक्त भारत था, जिसने समाज को सशक्त करने और धर्म के मार्ग पर चलने के लिए सभी को प्रेरित किया।
  19. 39 वर्ष की आयु में उन्होंने समाधि ली लेकिन उनके विचार सदा के लिए अमर हो गए।
  20. स्वामी विवेकानंद आज भी युवाओं के आदर्श और प्रेरणास्त्रोत हैं।

FAQs 

स्वामी विवेकानंद पर 20 लाइनें कैसे लिखें?

स्वामी विवेकानंद पर 20 लाइनें लिखने के लिए उनके जीवन, शिक्षा, विचारों और योगदान को छोटे-छोटे बिंदुओं में लिखें। हर लाइन में एक नई जानकारी शामिल करें।

क्या स्वामी विवेकानंद के विचारों पर आधारित लाइनें बच्चों के लिए उपयुक्त हैं?

हाँ, स्वामी विवेकानंद के विचार प्रेरणादायक होते हैं और बच्चों के व्यक्तित्व विकास के लिए बहुत उपयोगी होते हैं।

स्वामी विवेकानंद पर 20 लाइनें कैसे लिखें?

स्वामी विवेकानंद पर 20 लाइनें लिखने के लिए उनके जीवन, शिक्षा, विचारों और योगदान को छोटे-छोटे बिंदुओं में लिखें। हर लाइन में एक नई जानकारी शामिल करें।

क्या स्वामी विवेकानंद के विचारों पर आधारित लाइनें बच्चों के लिए उपयुक्त हैं?

हाँ, स्वामी विवेकानंद के विचार प्रेरणादायक होते हैं और बच्चों के व्यक्तित्व विकास के लिए बहुत उपयोगी होते हैं।

स्वामी विवेकानंद की 20 लाइनें क्यों पढ़ाई जाती हैं?

उन पर लिखी 20 लाइनें विद्यार्थियों को उनके योगदान, सोच और राष्ट्रभक्ति को समझाने के लिए पढ़ाई जाती हैं।

स्वामी विवेकानंद की 20 लाइनें हिंदी में कैसे याद करें?

20 लाइनों को विषयवार (जैसे बचपन, शिक्षा, भाषण, प्रेरणा) वर्गीकृत करके याद करना आसान होता है।

स्वामी विवेकानंद के बारे में क्या लिखें?

स्वामी विवेकानंद के बारे में लिखते समय आप उनके चरित्र, उनके विचारों और उनके संघर्षों को उचित स्थान दे सकते हैं।

युवाओं के लिए स्वामी विवेकानंद का क्या संदेश है?

युवाओं के लिए स्वामी विवेकानंद का संदेश है – उठो, जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति ना हो जाए।

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