Rachna Ke Aadhar Par Vakya Ke Kitne Bhed Hote Hain: रचना के आधार पर वाक्य के कितने भेद होते हैं?

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Rachna Ke Aadhar Par Vakya Ke Kitne Bhed Hote Hain
A. दो
B. तीन
C. चार
D. पांच
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 उत्तर: सही उत्तर है (B) तीन

विस्तृत उत्तर:

रचना के आधार पर वाक्य के तीन मुख्य भेद होते हैं:

  • सरल वाक्य (Saral Vakya) या साधारण वाक्य (Sadharan Vakya): जिस वाक्य में केवल एक ही मुख्य क्रिया (verb) होती है, उसे सरल वाक्य कहते हैं। इसमें एक कर्ता (subject) और एक विधेय (predicate) होता है। उदाहरण: 1. बच्चा खेल रहा है। 2. सूरज पूरब से उगता है।
  • संयुक्त वाक्य (Sanyukt Vakya): जिस वाक्य में दो या दो से अधिक स्वतंत्र उपवाक्य किसी समुच्चयबोधक अव्यय (coordinating conjunction) जैसे ‘और’, ‘या’, ‘अथवा’, ‘किंतु’, ‘परंतु’ आदि से जुड़े होते हैं, उसे संयुक्त वाक्य कहते हैं। इसमें सभी उपवाक्य समान स्तर के होते हैं। उदाहरण: 1. राम बाजार गया और उसने फल खरीदे। 2. तुम चाय पियोगे या कॉफी?
  • मिश्र वाक्य (Mishra Vakya) या जटिल वाक्य (Jatil Vakya): जिस वाक्य में एक प्रधान उपवाक्य और एक या अधिक आश्रित उपवाक्य होते हैं, जो व्यधिकरण समुच्चयबोधक अव्ययों (subordinating conjunctions) जैसे ‘कि’, ‘यदि’, ‘क्योंकि’, ‘जब’, ‘तब’, ‘जैसा’, ‘वैसा’ आदि से जुड़े होते हैं, उसे मिश्र वाक्य कहते हैं। आश्रित उपवाक्य प्रधान उपवाक्य पर अर्थ के लिए निर्भर होता है। उदाहरण: 1. वह लड़का जो कोने में बैठा है, मेरा भाई है। 2. जब बारिश रुकी, तब हम घर गए।

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