IFS ऑफिसर कैसे बनें?

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IFS officer कैसे बने

आपने विदेश सेवा या राजदूत यानि एम्बेस्डर के बारे में ज़रूर सुना होगा। बहुत से एम्बेस्डर काफी मशहूर भी रहे हैं। भारत के वर्तमान विदेश मंत्री एस. जयशंकर भी एक रिटायर आईएफएस ऑफिसर ही हैं। इसके अलावा भारत के पूर्व उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी भी एक आईएफएस रह चुके हैं। अधिकतर विद्यार्थी यह सोचते हैं कि इंडियन फॉरेन सर्विसेस (Indian Foreign Services) क्या होता है? आईएफएस ऑफिसर का काम क्या होता होगा और इन्हें कितनी सैलरी मिलती है? आईएफएस ऑफिसर कैसे बनते हैं? इस ब्लॉग में हम आईएफएस बनने की पूरी प्रक्रिया और आईएफएस ऑफिसर जुड़ी अन्य महत्वपूर्ण जानकारी के बारे में विस्तार से बताएंगे। 

IFS ऑफिसर कौन होता है?

IFS ऑफिसर भारतीय सिविल सर्विसेस् के एक अधिकारी पद की नौकरी है, जिसे देश का प्रतिनिधत्व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर करना होता है। आइये इसे और आसानी से समझ लें – जिस प्रकार एक IAS ऑफिसर देश में रहकर किसी क्षेत्र या उससे जुड़े मामलों में रूचि लेता है, उसी तरह एक IFS ऑफिसर अंतर्राष्ट्रीय संस्थानों और अन्य कई देशों के साथ काम करते हैं। IFS ऑफिसर का फुल फॉर्म है इंडियन फॉरेन सर्विस सर्विस है। 

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IFS ऑफिसर कैसे बनें?

IFS ऑफिसर बनने के लिए आपके पास किसी भी मान्यता प्राप्त कॉलेज से ग्रेजुएशन की डिग्री होनी चाहिए। IFS ऑफिसर की परीक्षा UPSC द्वारा आयोजित की जाती है। आप अपने ग्रेजुएशन के आखिरी साल में पढ़ाई करते वक़्त इसकी परीक्षा दे सकते हैं। IFS ऑफिसर के लिए अप्लाई करने से पहले आपको अपने विषय का पूर्ण ज्ञान होना चाहिए। यह परीक्षा हर साल UPSC द्वारा आयोजित कराई जाती है जो फरवरी या मार्च में होती है। अगर आप इस परीक्षा में सफल हो जाते हैं तो आपको ट्रेनिंग पर भेज दिया जाता है। ट्रेनिंग के बाद एक IFS ऑफिसर को विदेश मंत्रालय और भारतीय दूतावास में काम करने का मौका मिलता है। IFS officer कैसे बने के लिए स्टेप बाय स्टेप गाइड नीचे दी गई है:

  • स्टेप 1: IFS ऑफिसर बनने के लिए आपको सबसे पहले अपनी 12वीं तक की पढ़ाई किसी भी स्ट्रीम से पूरी करनी होगी।
  • स्टेप 2: IFS ऑफिसर बनने की दूसरी और आवश्यक स्टेप है अपनी ग्रेजुएशन की पढ़ाई करना। ग्रेजुएशन IFS ऑफिसर बनने के लिए पहली और सबसे महत्वपूर्ण योग्यता है।
  • स्टेप 3: IFS ऑफिसर बनने के लिए तीसरी स्टेप है UPSC के लिए आवेदन करना।
  • स्टेप 4: UPSC के एग्ज़ाम 3 चरणों में होते हैं- प्री, मेन्स और अंतिम चरण इंटरव्यू में होता हैं।
  • स्टेप 5: इंटरव्यू राउंड पूरा होने के बाद आपकी ट्रेनिंग होगी।
  • स्टेप 6: ट्रेनिंग पूरी होने के बाद आप एक IFS ऑफिसर के रूप में अपना पद संभाल सकते हैं।

IFS ऑफिसर बनने के लिए योग्यता

IFS ऑफिसर का पद सँभालने के लिए तथा इस विभाग में नौकरी करने के लिए निम्न योग्यताओं की आवश्यकता है –

  • इंडियन फॉरेन सर्विस में नौकरी करने के लिए भारतीय नागरिक होना आवश्यक है। 
  • IFS ऑफिसर बनने के लिए किसी भी कॉलेज या मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएशन की डिग्री होनी चाहिए।  
  • आपके पास सिमित अवसर होते हैं, उन्हीं के दौरान आपको अपना एग्ज़ाम क्लियर करना होता है।
  • IFS ऑफिसर बनने के लिए आपके पास सिमित आयु सीमा होती है।

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IFS ऑफिसर बनने के लिए आयु सीमा

IFS ऑफिसर की परीक्षा में अप्लाई करने लिए आपकी उम्र कम से कम 21 वर्ष हो और अधिक से अधिक 32 वर्ष होनी चाहिए। अगर आपने आरक्षित वर्ग से अप्लाई किया है तो सरकार की तरफ से आपको कुछ आयु की छूट दी जाती है। 

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IFS ऑफिसर एग्ज़ाम सिलेबस

IFS ऑफिसर की तैयारी के समय आपको कुछ विषयों का विशेष ध्यान रखना पड़ेगा। प्रिलिमिनरी एग्ज़ाम और मेन्स एग्ज़ाम के लिए निम्न विषयों का अध्ययन करें – 

पेपर I : सामान्य अध्ययन I- (200 अंक) अवधि: दो घंटे

  • राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय महत्व की वर्तमान घटनाएं।
  • भारत का इतिहास और भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन।
  • भारतीय और विश्व भूगोल-भौतिक, सामाजिक, भारत और विश्व का आर्थिक भूगोल।
  • भारतीय राजनीति और शासन-संविधान, राजनीतिक व्यवस्था, पंचायती राज, सार्वजनिक नीति, अधिकार मुद्दे, आदि।
  • आर्थिक और सामाजिक विकास-सतत विकास, गरीबी, समावेश, जनसांख्यिकी, सामाजिक क्षेत्र की पहल आदि।
  • पर्यावरणीय पारिस्थितिकी, जैव विविधता और जलवायु परिवर्तन पर सामान्य मुद्दे
  • सामान्य विज्ञान

पेपर II : सामान्य अध्ययन II (CSAT)- (200 अंक) अवधि: दो घंटे

  • संचार कौशल सहित पारस्परिक कौशल
  • तार्किक तर्क और विश्लेषणात्मक क्षमता
  • निर्णय लेना और समस्या समाधान
  • सामान्य मानसिक क्षमता
  • बुनियादी संख्या (संख्या और उनके संबंध, परिमाण के आदेश, आदि) (कक्षा X स्तर), डेटा व्याख्या (चार्ट, रेखांकन, तालिकाओं, डेटा पर्याप्तता आदि) – कक्षा X स्तर)

मुख्य परीक्षा मेन्स का सिलेबस

IFS officer कैसे बने जानने के साथ-साथ नीचे मुख्य परीक्षा मेन्स का सिलेबस जानना भी आवश्यक है, जो इस प्रकार है:

  • मुख्य परीक्षा का उद्देश्य केवल उनकी जानकारी और स्मृति की सीमा के बजाय समग्र बौद्धिक लक्षणों और उम्मीदवारों की समझ की गहराई का आकलन करना है।
  • सामान्य अध्ययन के प्रश्नपत्र (पेपर II से पेपर V) में प्रश्नों की प्रकृति और मानक ऐसे होंगे कि एक अच्छी तरह से शिक्षित व्यक्ति बिना किसी विशेष अध्ययन के उनका उत्तर दे सकेगा। परीक्षा के लिए वैकल्पिक विषय के पेपर (पेपर VI और पेपर VII) के सिलेबस का दायरा मोटे तौर पर ऑनर्स डिग्री स्तर का है।
  • भारतीय भाषाओं (पेपर ए) और अंग्रेजी (पेपर बी) पर आधारित प्रश्नपत्र : पेपर का उद्देश्य उम्मीदवार की गंभीर गद्य पढ़ने और समझने की क्षमता का परीक्षण करना है, और संबंधित अंग्रेजी और भारतीय भाषा में अपने विचारों को स्पष्ट और सही ढंग से व्यक्त करना है। 

पेपर A: अनिवार्य भारतीय भाषा

UPSC की परीक्षा में सफल होने के लिए निम्नलिखित बिंदु की समझ अति आवश्यक है।

  • दिए गए पैसेज की समझ।
  • सटीक लेखन।
  • उपयोग और शब्दावली।
  • लघु निबंध।
  • अंग्रेजी से भारतीय भाषा में अनुवाद और इसके विपरीत भारतीय भाषा से अंग्रेजी भाषा में अनुवाद

पेपर B: अंग्रेजी 

UPSC की परीक्षा में सफल होने के लिए निम्नलिखित बिंदु की समझ अति आवश्यक है।

  • दिए गए पैसेज की समझ। (Comprehension of given passages)
  • सटीक लेखन।
  • उपयोग और शब्दावली।
  • लघु निबंध।

पेपर I : निबंध

UPSC के अनुसार उम्मीदवारों को कई विषयों पर निबंध लिखने पड़ सकते हैं इसलिए उम्मीदवारों को निबंध लेखन की अच्छी समझ होनी आवश्यक है।

पेपर 2 : सामान्य अध्ययन II

UPSC के सामान्य अध्ययन- I: में भारतीय विरासत और संस्कृति, विश्व और समाज का इतिहास और भूगोल आदि के बारे में पूछा जाता है।

  • भारतीय विरासत
  • आधुनिक भारतीय इतिहास
  • विश्व इतिहास
  • भारतीय समाज
  • भूगोल

पेपर 3: सामान्य अध्ययन- II

UPSC के सामान्य अध्ययन- II विषय में शासन, संविधान, राजनीति, सामाजिक न्याय और अंतर्राष्ट्रीय संबंध से संबंधित प्रश्न पूछे जाते हैं।

  • भारतीय संविधान
  • भारतीय राजव्यवस्था
  • सामाजिक न्याय
  • भारतीय शासन
  • अंतर्राष्ट्रीय सम्बन्ध

पेपर 4: सामान्य अध्ययन– III

UPSC के सामान्य अध्ययन– III में प्रौद्योगिकी, आर्थिक विकास, जैव विविधता, पर्यावरण, सुरक्षा और आपदा प्रबंधन बारे में पूछा जाता है।

  • भारतीय अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान और तकनीक
  • पर्यावरण और जैव विविधता
  • आपदा प्रबंधन
  • आपदा प्रबंधन
  • सुरक्षा

पेपर 5 : सामान्य अध्ययन– IV: नैतिकता, अखंडता और योग्यता

  • नैतिकता और मानव इंटर फ़ेस
  • मनोवृत्ति
  • योग्यता
  • भावनात्मक बुद्धि
  • सार्वजनिक / सिविल सेवा मूल्य और लोक प्रशासन में नैतिकता
  • शासन में संभावना

पेपर 6 & 7: वैकल्पिक विषय पेपर I और II उम्मीदवार कोई भी वैकल्पिक विषय चुन सकते हैं।

UPSC में निम्नलिखित दिए गए विषयों में से कोई भी वैकल्पिक विषय चुन सकते हैं इसकी सूची नीचे दी गई है:

  • कृषि विज्ञान
  • पशुपालन और पशु चिकित्सा विज्ञान
  • मनुष्य जाति का विज्ञान
  • वनस्पति विज्ञान
  • रसायन विज्ञान
  • असैनिक अभियंत्रण
  • वाणिज्य और लेखा
  • अर्थशास्त्र
  • इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग
  • भूगोल
  • भूगर्भशास्त्र
  • इतिहास
  • कानून
  • असमिया
  • बंगाली
  • डोगरी
  • अंग्रेज़ी
  • गुजराती
  • हिंदी
  • कन्नड़
  • कश्मीरी
  • कोंकणी
  • मैथिली
  • मलयालम
  • मणिपुरी
  • मराठी
  • नेपाली
  • ओड़िया
  • पंजाबी
  • संस्कृत
  • संथाली
  • सिंधी
  • तामिल
  • तेलुगू
  • उर्दू
  • गणित
  • मैकेनिकल इंजीनियरिंग
  • चिकित्सा विज्ञान
  • दर्शन
  • भौतिक विज्ञान
  • राजनीति विज्ञान और अंतर्राष्ट्रीय
  • मनोविज्ञान
  • सार्वजनिक प्रशासन
  • नागरिक सास्त्र
  • आंकड़े
  • प्राणि विज्ञान

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IFS ऑफिसर बनने के लिए टिप्स

IFS Officer कैसे बने इसके लिए जानिए कुछ बेहतरीन टिप्स जो नीचे दी गयी है-

  • पहला पेपर (Preliminary exam) 200 अंक का होता है और दूसरा पेपर 600 अंक का होता है जिसमें आपको अच्छे अंक प्राप्त करने होने होते हैं। इसके आधार पर ही आप आगे की प्रक्रिया में जाते हैं।
  • अंग्रेजी और सामान्य ज्ञान की अच्छी पकड़ होनी चाहिए। 
  • आपको एग्ज़ाम की तैयारी हमेशा मेन्स एग्ज़ाम के आधार पर करनी चाहिए।
  • अपनी पढ़ाई को 10 से 12 घंटे का समय दें।
  • जो भी पढ़ें उनके अपनी भाषा में नोट्स बनाते रहें ताकि जब आपको दुबारा वही टॉपिक पढ़ना होतो आपको नोट्स पढ़ के आसानी से टॉपिक समझ में आ जाए।
  • नियमित रूप से अख़बार पढ़ें और देश विदेश में राजनितिक, आर्थिक समाजिक, विदेशी व्यापार, विदेशी रिश्तों से जुड़ी घटनाओं पर नज़र रखें।
  • आपका बेहतर आत्मविश्वास इंटरव्यू राउंड में आपकी मदद करेगा।

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IFS ऑफिसर चयन प्रक्रिया

इंडियन फॉरेन सर्विस ऑफिसर के लिए आपको परीक्षा के तीनों चरण पास करने होंगे जिसके आधार पर आपको ट्रेनिंग दी जाएगी और पद दिया जाएगा। 

प्रिलिमीनरी एग्जाम

इस परीक्षा में आपसे वैकल्पिक प्रश्न पूछे जाते हैं जिसे पास करने के लिए अच्छे अंक प्राप्त करने होते हैं। यह परीक्षा पास करने के बाद आपको एक फॉर्म भरना होता है जिसमें आपके रूचि के अनुसार पोस्ट और सर्विसेस् allot रहती हैं। अतः ये allotment आपके रैंक के आधार पर किया जाता है। 

मेन्स एग्जाम

मुख्य परीक्षा में आपसे 9 प्रश्न पूछे जाते हैं, जो अलग-अलग विषय से होते हैं। इस परीक्षा को पास करने के बाद आपको इंटरव्यू के लिए चुना जाता है। 

इंटरव्यू  

इंटरव्यू प्रोसेस में आपके रूचि के अनुसार प्रश्न पूछे जाते हैं, जिसके आधार पर सर्विस और पोस्ट दी जाती है। 

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IFS ऑफिसर का काम

एक IFS ऑफिसर का काम होता है दूसरे देशों में खुद के देश का प्रतिनिधित्व करना। एक IFS ऑफिसर देश की सरकार और विदेशों की सरकार के बीच अच्छे रिश्ते मजबूत करता है जिससे व्यापारिक और सांस्कृतिक सम्बन्ध बना रहे। यह एक IPS दर्ज़े का ही काम होता है जिसका सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा है विदेशी मामलों को सुलझाना। जब भी प्रधानमंत्री या कोई मंत्री विदेश दौरे पर जाता है तो सारी नीतियां समझाना एक IFS ऑफिसर का काम है।

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IFS ऑफिसर की मिलने वाली सुविधाएँ

एक IFS ऑफिसर बनने के बाद आपको कई सुविधाएँ मिलती हैं। जैसे –

  • सरकारी आवास
  • गाड़ी की सुविधा
  • सुरक्षा गार्ड और इंश्योरेंस सुविधा
  • विदेशों में शिक्षा का अवसर 
  • रिटायरमेंट व अन्य लाभ  

IFS ऑफिसर की सैलरी

दोस्तों किसी भी नौकरी के लिए उसकी सैलरी बहुत ही महत्वपूर्ण होती है। IFS ऑफिसर की सैलरी ₹50,000-60,000 तक होती है। उन्हें हर माह ग्रेड पे के तौर पर ₹5,400 भी मिलते हैं। जो IFS ऑफिसर विदेश में पोस्टेड हैं उनकी सैलरी इन से कुछ अलग होती है।

FAQ

IFS ऑफिसर क्या काम करते हैं ?

एक IFS ऑफिसर दूसरे देशों में अपने देश का प्रतिनिधित्व करते हैं। इनके मुख्य काम है विदेशी सरकार से अपने सरकार के बीच रिश्ते मजबूत करना। 

IFS का कोर्स कितने साल का होता है?

इस सिविल सेवा की तैयारी के लिए कम से कम 2 से 3 साल का समय लगता है। आप इसकी तैयारी अपने ग्रेजुएशन के दिनों से ही कर सकते हैं। 

IFS रैंक क्या होता है ?

इंटरव्यू प्रोसेस में सफल होने के बाद आपका रिजल्ट आता है जिसमें आपको एक रैंक दी जाती है। अगर आपके अंक सबसे ज्यादा हैं तो आपको IAS और IFS की पोस्ट मिलती है जिसमें किसी एक का चयन आपको करना है। 

उम्मीद है कि हमारे इस ब्लॉग से आपको, IFS Officer कैसे बने इसके लिए उचित मार्गदर्शन मिल गई होगी। यदि आप विदेश में पढ़ना चाहते हैं तो आज ही Leverage Edu एक्सपर्ट को 1800 572 000 पर कॉल करके 30 मिनट का फ्री सेशन बुक करें और बेहतर मार्गदर्शन पाएं।

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8 comments
    1. साक्षी जी, आपका आभार। IFS अफसर शौकिया तौर पर सिंगिंग में करियर बना सकते हैं। IFS अफसर बनने के लिए आपको अपनी ग्रेजुएशन पूरी करने की आवश्यकता है। एक बारी ग्रेजुएशन होने के बाद आप या तो स्वं ही IFS बनने की तैयारी कर सकते हैं या फिर किसी कोचिंग सेंटर से तैयारी शुरू कर सकते हैं।